केंद्र सरकार की एडवाइजरी:देश में तीसरी लहर; पूरी जानकारी .COVD-19

 DATE-23/06/2021    REPORT FRCE TODAY COVID 19 NEWS

केंद्र सरकार की एडवाइजरी:देश में तीसरी लहर;पूरी जानकारी 

कोरोना के कम मामलों के बीच विशेषज्ञों का मानना है कि डेल्‍टा प्‍लस वैरिएंट देश में कोरोना की तीसरी लहर का कारण बन सकता है। हेल्थ सेक्रेटरी राजेश भूषण ने बुधवार को कहा कि यह वैरिएंट दुनिया के 9 देशों में है। भारत में अब तक डेल्टा प्लस वैरिएंट के 22 मामले सामने आए हैं। इनमें सबसे ज्यादा 16 महाराष्ट्र के रत्नागिरी और जलगांव से हैं। बाकी के केस मध्य प्रदेश और केरल से हैं।

हेल्थ मिनिस्ट्री के मुताबिक भारतीय SARS-CoV-2 जीनोमिक कंसोर्टिया के हालिया निष्कर्षों के आधार पर महाराष्ट्र, केरल और मध्य प्रदेश को इस वैरिएंट से सतर्क रहने की सलाह दी गई है। हालांकि स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि इससे बहुत ज्यादा चिंतित होने की जरूरत नहीं है।
नीति आयोग के सदस्य डॉ. वी के पॉल ने बताया कि डेल्टा वैरिएंट दुनिया के 80 देशों में है। भारत में दूसरी लहर को बढ़ाने में इसी वैरिएंट को जिम्मेदार बताया जा रहा है। इसे वैरिएंट ऑफ कंसर्न की श्रेणी में रखा गया है। डेल्टा प्लस वैरिएंट अभी 9 देशों ब्रिटेन, अमेरिका, जापान, रूस, भारत, पुर्तगाल, स्विटजरलैंड, नेपाल और चीन में मिला है। अभी यह वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट की श्रेणी में है। राज्यों को चिट्ठी लिखकर बताया गया है कि उन्हें कैसे डेल्टा प्लस वैरिएंट को डील करना है।

हम नहीं चाहते हैं कि डेल्टा प्लस वैरिएंट  बढ़े
तीसरी लहर आने के सवाल पर डॉ. पॉल ने कहा- ये कोई नहीं जानता कि वायरस कब अपना रूप बदल ले, ये पूर्वानुमान नहीं लगाया जा सकता, लेकिन दुनिया के कई ऐसे देश हैं जहां न तो दूसरी लहर आई और न चौथी। यानी हम सावधान रहें तो हो सकता है कि यह कंट्रोल में रहे। हालांकि राहत की बात ये है कि 7 मई के मुकाबले देश में कोरोना के मामलों में 90% की कमी आई है।

पॉल ने अमेरिकी कंपनी मॉडर्ना की कोरोना वैक्सीन की भारत में सप्लाई के सवाल पर कहा कि कंपनी की मांगों को लेकर अभी कोई ठोस निर्णय नहीं हुआ है। इस पर चर्चा जारी है। बता दें कि मॉडर्ना ने भारत में वैक्सीन सप्लाई को लेकर कुछ शर्तें लगाई हैं।

 ग्रामीण क्षेत्रों में हुआ रिकॉर्ड वैक्सीनेशन
स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि देश ने 21 जून को एक दिन में 88.09 लाख कोरोना वायरस टीके लगाने की ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की। सबसे बड़ी बात ये रही कि इसमें करीब 64% वैक्सीनेशन ग्रामीण इलाकों में हुए। मध्य प्रदेश ने मंगलवार को सबसे अधिक खुराक दी। उसके बाद कर्नाटक, उत्तर प्रदेश, बिहार, हरियाणा, गुजरात, अदि  

बड़ी खबर -भारत बायोटेक की कोरोना वैक्सीन कोवैक्सिन क्लिनिकल ट्रायल में 77.8% असरदार साबित हुई है।

हैदराबाद की कंपनी भारत बायोटेक की कोरोना वैक्सीन कोवैक्सिन फेज-3 के क्लिनिकल ट्रायल में 77.8% असरदार साबित हुई है। कंपनी ने पिछले हफ्ते ही ट्रायल का डेटा ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) को सौंपा था। जिस पर मंगलवार को सब्जेक्ट एक्सपर्ट कमेटी (SEC) की अहम मीटिंग हुई। इसमें वैक्सीन के फेज 3 के ट्रायल के डेटा को मंजूरी दे दी गई।

25,800 लोगों पर फेज-3 का ट्रायल किया गया था। इसमें ये देखा गया कि कोरोना के खिलाफ यह वैक्सीन कितना बचाव करती है। SEC की मंजूरी के बाद इस डेटा को अब वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन (WHO) में भी सब्मिट किया जा सकेगा। कोवैक्सिन को भारत बायोटेक ने इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के साथ मिलकर डेवलप किया है। सूत्रों के मुताबिक, कोवैक्सिन को आज ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) से मंजूरी मिल सकती है।

 

एक दिन में 53 लाख लोगों को वैक्सीन लगी, 

 मंगलवार रात 10.30 बजे तक 53.40 लाख लोगों को कोरोना वैक्सीन लगाई गई। एक दिन पहले सोमवार को रिकॉर्ड 86 लाख से ज्यादा लोगों को टीका लगाया गया था।मंगलवार को सबसे ज्यादा 7.96 लाख डोज उत्तर प्रदेश में दिए गए। सिर्फ 5 राज्यों में 3 लाख से ज्यादा लोगों को वैक्सीन लगी। इनमें यूपी के अलावा महाराष्ट्र (5.56 लाख), गुजरात (4.26 लाख), कर्नाटक (3.92 लाख) और राजस्थान (3.76 लाख) शामिल हैं। दो लाख से ज्यादा डोज वाले राज्यों में पश्चिम बंगाल (2.98 लाख), बिहार (2.83 लाख), केरल (2.30 लाख) और तमिलनाडु (2.15 लाख) शामिल हैं। राजधानी दिल्ली में सिर्फ 84,795 डोज लगाए गए।

 देश में अब तक 29 करोड़ लोगों को वैक्सीन लगाई जा चुकी है। मंगलवार शाम 7 बजे तक इसका आंकड़ा 29.40 करोड़ हो चुका है। इनमें करीब 24 करोड़ को पहला और 5.12 करोड़ को दोनों डोज लग गए हैं।

  भारत में कोरोना का पहला मरीज 30 जनवरी 2020 को मिला था।

देश में कोरोना के मरीजों की संख्या मंगलवार को 3 करोड़ के पार हो गई। भारत में कोरोना का पहला मरीज 30 जनवरी 2020 को मिला था। इसके 17 महीने बाद कुल मरीजों की संख्या 3 करोड़ पहुंची है। पिछले 1 करोड़ केस तो सिर्फ 50 दिन में मिले हैं। उस समय देश में दूसरी लहर अपने पीक पर थी। तब एक दिन में रिकॉर्ड 4 लाख से ज्यादा संक्रमित मिल रहे थे। यह संख्या पूरी दुनिया में सबसे ज्यादा थी।

दूसरी लहर कमजोर पड़ने और वैक्सीनेशन का दायरा बढ़ने के कारण नए मामले फिर 50 हजार के अंदर आ गए हैं। सोमवार को 42,683 लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। इस दौरान 81,031 लोगों ने कोरोना को मात दी और 1,167 लोगों की मौत हो गई। करीब 3 महीने बाद कोरोना के नए संक्रमितों का आंकड़ा 50 हजार से नीचे आया है। इससे पहले 23 मार्च को 47,239 कोरोना संक्रमित मिले थे।

 भारत दुनिया में कोरोना से दूसरा सबसे ज्यादा प्रभावित देश है। सबसे ज्यादा 3.44 करोड़ केस अमेरिका में आए हैं। हालांकि दोनों में अब सिर्फ 44 लाख केस का अंतर बाकी है। अमेरिका ने अपने यहां तेजी से वैक्सीनेशन कर संभावित तीसरी लहर को रोक रखा है। अमेरिका में अब 10 हजार से कम नए केस मिल रहे हैं। भारत में अगर अभी की रफ्तार से केस मिले तो वह अमेरिका को पीछे छोड़ सकता है।

 प्रधानमंत्री का ब्लॉग 

कोरोना काल में संकट का सामना कर रहे और इस चुनौती से निपट रहे पूरे देश को संबोधित करते हुए PM नरेंद्र मोदी ने एक ब्लॉग लिखा है। इसमें उन्होंने कोरोना महामारी के समय केंद्र और राज्यों की भूमिका का जिक्र किया है। उन्होंने बताया है कि कैसे राज्य औऱ केंद्र की सरकार ने कोरोना जैसी विपदा का सामना किया।

PM मोदी ने लिखा है, 'कोरोना महामारी देश की सरकार और दुनिया के सामने नीति निर्माण के स्तर पर नए तरीके की चुनौती बनकर सामने आई। लोगों की भलाई के लिए संसाधन उपलब्ध कराना सबसे बड़ी चुनौती थी। जब दुनिया भर में वित्तीय संकट था, तब भारत के राज्य 2020-21 से ज्यादा उधार लेने में सफल रहे। आपको ये जानकर आश्चर्य होगा कि राज्य 1.06 लाख करोड़ रुपए का उधार लेने में सक्षम रहे।' उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्यों की भागीदारी की वजह से संसाधनों की उपलब्धता संभव हुई।

PM ने कहा कि जब हमने महामारी को देखते हुए आर्थिक सुधार की प्रक्रिया तय की, तो हम सुनिश्चित करना चाहते थे कि हमारे समाधान 'वन साइज फिट ऑल मॉडल' का पालन न करें। उन्होंने बताया कि एक फेडरल देश के लिए राज्य सरकारों की तरफ से सुधारों को बढ़ावा देने राष्ट्रीय स्तर पर नीतिगत साधनों को तलाशना चुनौतीपूर्ण होता है। हमें अपनी संघीय राज्य-व्यवस्था पर पूरा भरोसा था। हम केंद्र और राज्य की भागीदारी की भावना से आगे बढ़े।

सावधान और  सावधानी  कोरोना को दे सकते है मात -

ऐसा माना जा रहा है कि 15 जुलाई तक पूरा देश अनलॉक हो जाएगा. यह ठीक वैसे ही स्थिति होगी जैसी कि इस साल जनवरी में थी. जनवरी में सभी कुछ अनलॉक हो गया था, लेकिन यदि इस बार अनलॉक होने पर अगर हम सावधानी नहीं बरतते हैं, सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का पालन नहीं करते हैं और मास्क नहीं लगाते हैं तो कोरोना की तीसरी लहर का पीक अक्टूबर तक आ सकता है.  जानकर भी इस बात को मान रहे हैं. 

 टीका लगवाने से पहले पीएं खूब सारा पानी

टाइम्स ऑफ इंडिया डॉट कॉम की एक रिपोर्ट की मानें तो कोरोना का टीका लगवाने से पहले और टीका लगवाने के बाद आपको क्या खाना चाहिए और क्या नहीं (What to eat before and after vaccination), इस बारे में जानना बेहद जरूरी है. अगर आप कोविड का टीका लगवाने जा रहे हैं तो नियमित रूप से खूब सारा पानी पीएं (Drink water), तरबूज, खीरा, ककड़ी जैसे पानी से भरपूर फलों का सेवन करें ताकि वैक्सीन की वजह से होने वाले साइड इफेक्ट्स की आशंका (Reduce side effects risk) को कम किया जा सके. साथ ही वैक्सीन के पूरे कोर्स के दौरान आपको बेहतर भी महसूस हो.

 उत्तराखंड कोविड 19 रिपोर्ट  23 /06 /2021 

उत्तराखंड में पिछले 24 घंटों में कोरोना संक्रमण के 171 नए मामले सामने आए हैं। वहीं आठ मरीजों की मौत हुई है। इसके अलावा आज 221 मरीजों को ठीक होने के बाद घर भेजा गया।  

  मंगलवार को 23663 सैंपलों की जांच रिपोर्ट निगेटिव आई है। वहीं, अल्मोड़ा में 23, बागेश्वर एक, चमोली में छह, चंपावत में 17, देहरादून में 70, हरिद्वार में 11, नैनीताल में 13, पौड़ी में तीन, पिथौरागढ़ में आठ, रुद्रप्रयाग में नौ, टिहरी में पांच, ऊधमसिंह नगर में तीन और उत्तरकाशी में दो मामले सामने आए हैं। 

 On Tuesday, the investigation report of 23663 samples has come negative. At the same time, 23 in Almora, one in Bageshwar, six in Chamoli, 17 in Champawat, 70 in Dehradun, 11 in Haridwar, 13 in Nainital, three in Pauri, eight in Pithoragarh, nine in Rudraprayag, five in Tehri, three in Udham Singh Nagar. Two cases have been reported in Uttarkashi.

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